मंगलवार, 27 जुलाई 2021

सदन में शोर…मोदी ने कहा-जनता के सामने विपक्ष की पोल खोलें

संसद के मॉनसून सत्र का पांच दिन बीत चुका है, लेकिन विभिन्न मुद्दों पर विपक्ष का शोर-शराबा थमने का नाम नहीं ले रहा है। विपक्ष के अड़ियल रवैये से सरकार के हांथ-पांव फूलने लगे हैं, क्योंकि विधेयकों को पास करवाने का उसे कोई रास्ता ही नहीं सूझ रहा है। यही कारण है कि सत्र के छठे दिन सत्ताधारी बीजेपी ने नई रणनीति पर मंथन के लिए संसदीय दल की बैठक बुलाई। इस बैठक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा, संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी जैसे दिग्गजों ने हिस्सा लिया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सिपहसालारों को नया मंत्र दिया। पीएम ने कहा कि विपक्ष न बातचीत के टेबल पर आ रहा है और न ही सदन ही चलने देता है। यह बात जनता को जाननी चाहिए। आप सब जनता के सामने विपक्ष को बेनकाब करें।

मोदी के निर्देशों का लोकसभा में बीजेपी सांसदों पर असर आज साफ-साफ दिखा जब कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने हंगामा कर रहे विपक्षी नेताओं से कहा कि उनकी हरकतों को जनता देख रही है। जनता का वास्ता देते हुए उन्होंने कहा किआज की कार्यसूची में गांव और किसान से संबंधित 15 से अधिक प्रश्न चर्चा के लिए हैं। विपक्षी सदस्य अगर किसानों के बारे में थोड़ा सा भी दर्द रखते हैं, थोड़ी सी वफादारी रखते हैं, तो उन्हें शांति बनाकर अपने स्थान पर रहना चाहिए। इन प्रश्नों के माध्यम से अपना विषय रखना चाहिए। सरकार का जवाब सुनना चाहिए। इस प्रकार का हो हल्ला जो हो रहा है, इससे सदन की गरिमा भी नष्ट हो रही है। जनता का भी नुकसान हो रहा है।  

स्पीकर ओम बिरला भी यह कहते हुए सुने गए, 'माननीय सदस्यगण सदन में नारेबाजी के लिए कॉम्पिटिशन मत करो। जनता की समस्याओं में बोलने के लिए कॉम्पिटिशन करो। आप नारेबाजी में कॉम्पिटिशन कर रहे हैं। जनता देख रही है। आप जनता की समस्याओं और अभाव के समर्थन में कॉम्पिटिशन करो।'

सरकार का कहना है कि वो हर मुद्दे पर बातचीत को तैयार है, बशर्ते विपक्ष संसदीय नियमों और प्रक्रियाओं का पालन करे। केंद्रीय अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री और राज्यसभा में बीजेपी के उप नेता मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा, 'हमने विपक्षी नेताओं से बातचती की थी और कहा था कि हम उनके हर मुद्दे पर बातचीत को तैयार हैं। उम्मीद है कि विपक्ष नोटिस देकर उसपर सभापति और अध्यक्ष को विचार करने देगा कि किस नियम के तहत, कब चर्चा करवानी है।'

मगर, इसी बीच, पेगासस जासूसी कांड और अंदोलनरत किसानों के मुद्दे पर खार खाए बैठे विपक्ष को असम-मिजोरम सीमा विवाद में सोमवार को हुई हिंसक झड़प का एक और मुद्दा हाथ लग गया है। असम के कांग्रेसी नेता और लोकसभा में पार्टी संसदीय दल के उपनेता गौरव गोगोई ने कार्यस्थगन प्रस्ताव दिया है। उन्होंने असम-मिजोरम मुद्दे पर चर्चा के लिए स्थगन प्रस्ताव देने के साथ ही केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को चिट्ठी लिखकर हिंसा की जांच करवाने की मांगी की है।

1 टिप्पणी: